बगैर नम्बर प्लेट की गाडी चला रहे एसडीएम बदायूँ

एस०शाहिद अली ! हमारे देश में कई फरमान हवाई साबित होते हैं तो कुछ को खुद प्रशासन द्वारा अमली जामा नहीं पहनाया जाता । देश का दुर्भाग्य यह है कि हर आदेश का असर गरीब मजदूर जनता पर जरूर देखने को मिलता है । अब आप नोटबंदी को ही ले लीजिए !
नोटबंदी से न तो कालाधन स्वामी परेशान दिखा न ही अमीर करोबारी जितना कि मजदूर और गरीब लाईनों में पाए गए । खैर नोटबंदी की चर्चा को छोडिए, नोटबंदी से पहले का फरमान है कि किसी भी गाडी के आगे और पीछे नम्बर प्लेट लगाना अनिवार्य है । इतनी ही नहीं कोई भी प्रशासनिक या अर्धसरकारी व्यक्ति अपने पद को प्रदर्शित नहीं कर सकता ।
लेकिन हम बात कर रहे बदायूँ सदर तहसील के एसडीएम महोदय की जो सरकारी गाडी को बिना नम्बर प्लेट के चला रहे हैं साथ ही गाडी पर पद प्रदर्शित भी किया गया है । अब कोई बताएता कि यह नियम भी मात्र गरीब जनता के लिए ही बने हैं..???

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