"नई सपा - हुई सफा" प्रदेश के मजबूत मुस्लिम नेताओं के टिकट काटने की मिली सजा : आबिद रज़ा
बदायूँ जनमत। नई सपा का चुनाव में यह हाल पूरे प्रदेश में सिर्फ अहंकार, गलत नीतियों व मजबूत मुसलमान प्रत्याशियों (सहारनपुर से गाजीपुर) को टिकट के नाम पर धोखा देने की अल्लाह की ओर से सजा मिली है। यह बात पूर्वमंत्री आबिद रज़ा ने प्रेसनोट जारी कर कही है।
उन्होंने कहा कि नई सपा में दलालों को, कमजोर नेताओं को तरजीह दी गई तथा पुरानी सपा के पार्टी के वफादार व मजबूत लोगों की उपेक्षा की गई। इसलिए स्वाभिमानी लोगों ने सपा से किनारा करना ही बेहतर समझा।
वह बोले नई सपा का चुनाव में सॉफ्ट हिंदुत्व का फॉर्मूला फेल हो गया। चुनाव के नतीजों से आज मुसलमान की भी समझ में आ गया। चुनाव में चाहे सपा को कितना ही वोट मुसलमान दे दे लेकिन, सपा भाजपा को नहीं हरा सकती। 2014, 2017, 2019 व 2022 के चुनाव में मुसलमान का 90 प्रतिशत वोट पाकर भी सपा भाजपा को नहीं हरा पाई, इसलिए भविष्य में आम मुसलमान भाजपा को हराने के लिए 2024 के लोकसभा चुनाव में मजबूत सियासी ठिकाना ढूढेंगे। पूर्वमंत्री आबिद रज़ा ने कहा पूरे प्रदेश में जनसभाओं के संबोधन में हमने नई सपा को 130 से 135 सीटें जीतने की ही बात कही थी।
टिप्पणियाँ